डीसी प्रीति ने ली जल शक्ति अभियान के तहत संबंधित विभागों की बैठक, दिए आवश्यक दिशा निर्देश
इंडिया गौरव ब्यूरो कैथल, 8 मई। डीसी प्रीति ने कहा कि घटते भू-जल स्तर में सुधार लाने के लिए सभी विभाग जल संरक्षण की दिशा में गंभीरता से काम करें और भू-जल संरक्षण के लिए जल शक्ति अभियान के तहत बनाए जाने वाले सोखते गड्ढे, रिचार्ज बोरवेल, वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगवाने जैसे अपने लक्ष्यों को पूरा करें, ताकि भू जल स्तर में सुधार हो सके। जल की एक-एक बूंद कीमती है, इसका संचय करना बहुत जरूरी है। इसके साथ ही लोगों को जल बचाने के प्रति जागरूक करें।डीसी प्रीति लघु सचिवालय के सभागार में जल शक्ति अभियान के तहत संबंधित विभागों के अधिकारियों के साथ समीक्षा कर रही थी। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार की ओर से चलाए गए ‘जल संचय-जन भागीदारी-जन जागरूकता की ओर’ अभियान के तहत सभी संबंधित विभाग अपने लक्ष्यों को निर्धारित समय पर पूरा करें। गांव व शहर में जल बचाओ जागरूकता अभियान चलाए जाएं और इनमें आमजन की अधिक से अधिक भागीदारी सुनिश्चित की जाए। भू-जल स्तर में सुधार लाने और प्राकृतिक जल स्रोतों के संरक्षण व संवर्धन के लिए सभी मिलकर काम करें। स्कूल, चौपाल, ग्राम सचिवालय, सरकारी भवनों तथा खेतों में रिचार्ज बोरवेल, रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम तथा सोखते गड्ढे बनाए जाएं। जो सिस्टम खराब हालत में पड़े हुए हैं, उन्हें दुरूस्त किया जाए और उनका सही से रखरखाव किया जाए। जल शक्ति अभियान के तहत किए गए कार्यों के बारे में पोर्टल पर अपडेट करें।डीसी प्रीति ने कहा कि जल शक्ति अभियान के तहत जल संरक्षण और वर्षा जल संचयन, जियो-टैगिंग और सभी जल निकायों की सूची बनाना, वैज्ञानिक संरक्षण योजनाओं की तैयारी, गहन वनरोपण किए जाएं। केंद्र सरकार द्वारा जल संचय जन भागीदारी अभियान की शुरुआत जल संकट से निपटने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। संबंधित विभाग इसकी समय-समय पर मॉनिटरिंग भी करें। उन्होंने ग्राम सचिवों को गांव में जल बचाने को लेकर ग्राम सभाएं आयोजित करने के निर्देश दिए।इस अवसर पर डिप्टी सीईओ जिला परिषद रितु लाठर, बीडीपीओ समिता, कार्यकारी अभियंता प्रशांत ग्रोवर, निशांत बतान सहित अन्य विभागों के अधिकारी मौजूद रहे।


