कहा : बार – बार धरने प्रदर्शन के बावजूद नहीं हो रही सुनवाई
कैथल । आठवें वेतन आयोग का गठन करने, पच्चीस मार्च के वित्त विधेयक को वापस लेने, पुरानी पैंशन बहाल करने व केन्द्र व राज्यों में रिक्त पड़े लाखों पदों पर स्थाई भर्ती करने आदि मांगों को लेकर देश भर के राज्य सरकारों के पैंशनर
17 सितंबर को दिल्ली में जन्तर मन्तर पर धरना प्रदर्शन करेंगे। इसकी तैयारी के लिए आज यहां भगतसिंह भवन में रिटायर्ड कर्मचारी संघ कैथल की बैठक हुई। बैठक को संबोधित करते हुए वरिष्ठ उपप्रधान जसबीर सिंह, उपप्रधानों जगरुप सहारण, दिलबाग पोलड़ व मास्टर सिंगारा सिंह चीका ने कहा कि पैंशनर वरिष्ठ नागरिक की श्रेणी में आते हैं,
जिन्होंने तीस साल से चालीस सालों तक विभिन्न विभागों में अपनी सेवाएं दी हैं। उनकी मांगों की सुनवाई सरकार को ज्ञापन देने पर ही हो जानी चाहिए लेकिन उन्हें आज केन्द्र व राज्य सरकारों की संवादहीनता के चलते धरना-प्रदर्शन करना पड़ रहा है। जिला कमेटी के सचिवों ईश्वर ढांडा, लछमन शास्त्री व कोषाध्यक्ष धूप सिंह सिरोही ने भी अपनी बात रखी व कहा
कि आयु बढऩे पर पैन्शन बढ़ोतरी, कम्यूटेशन रिकवरी दस साल आठ महीनों तक करने, कैशलैस मैडिकल प्रणाली लागू करने आदि मुद्दे भी लम्बे समय से अनसुलझे पड़े हैं। जिला प्रैस प्रवक्ता सुरेश पाल शर्मा व सदस्यों विमल कुमार , मास्टर रिसाल सिंह धनौरी, बलवंत जाटान ने कहा कि न्यायालयों के सभी फैसलों का जनरलाईजेशन किया जाना चाहिए। ब्लाक
नेताओं रामफल गुहना, सत्यवान चीका, रघुबीर करोड़ा, जय भगवान सैनी, कर्मबीर कौलेखां, सतबीर मोर व परमल सिंह क्योडक़ ने भी बैठक में अपने अपने विचार रखे। उन्होंने कहा कि वे संगठन की मजबूती के लिए हरेक पैंशनर से सम्पर्क साधेंगे, गांव स्तर पर अपनी यूनिटें गठित करेंगे तथा जनता के मुद्दों शिक्षा, स्वास्थ्य, बिजली, पानी, सडक़ों, परिवहन आदि को लेकर अन्य जनसंगठनों के साथ मिलकर विरोध कार्यवाहियां करेंगे।

