नई दिल्ली, 25 जुलाई । ब्रिटेन और मालदीव की यात्रा से लौटने के तुरंत बाद प्रधानमंत्री
नरेंद्र मोदी शनिवार को तमिलनाडु का दौरा करेंगे। वह तूतीकोरिन में 4800 करोड़ रुपये से अधिक
की विभिन्न विकास परियोजनाओं का शिलान्यास, उद्घाटन और राष्ट्र को समर्पण करेंगे। वह
शनिवार शाम तूतीकोरिन पहुंचेंगे और रविवार को तिरुचिरापल्ली के गंगईकोंडा चोलपुरम मंदिर में
आदि तिरुवथिरई महोत्सव और चोल सम्राट राजेंद्र चोल प्रथम की जयंती समारोह में भाग लेंगे। इन
परियोजनाओं से क्षेत्रीय संपर्क, रसद दक्षता, स्वच्छ ऊर्जा अवसंरचना और नागरिकों के जीवन स्तर में सुधार होगा।
प्रधानमंत्री तूतीकोरिन हवाई अड्डे पर 450 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित नए टर्मिनल भवन का
उद्घाटन करेंगे, जो दक्षिणी क्षेत्र की बढ़ती विमानन मांग को पूरा करने के लिए डिजाइन किया गया
है। इसके अलावा, वह दो महत्वपूर्ण सड़क परियोजनाओं को समर्पित करेंगे। एनएच-36 के
सेठियाथोप-चोलापुरम खंड को 2,350 करोड़ रुपये की लागत से चार लेन में विकसित किया गया है।
एनएच-138 तूतीकोरिन पोर्ट रोड को 200 करोड़ रुपये की लागत से छह लेन का बनाया गया है।
वीओ चिदंबरनार बंदरगाह पर 285 करोड़ रुपये की लागत से 6.96 एमएमटीपीए क्षमता वाले नॉर्थ
कार्गो बर्थ-तीन का उद्घाटन होगा, जो ड्राई बल्क कार्गो की मांग को पूरा करेगा।
तीन रेल परियोजनाओं को करेंगे समर्पित
रेलवे और ऊर्जा अवसंरचना को बढ़ावा देने के लिए पीएम मोदी तीन रेल परियोजनाओं को समर्पित
करेंगे जिनमें 90 किलोमीटर लंबी मदुरै-बोदिनायक्कनूर लाइन का विद्युतीकरण और 21 किलोमीटर
लंबे नागरकोइल टाउन-कन्याकुमारी खंड का 650 करोड़ रुपये की लागत से दोहरीकरण शामिल है।
इसके अतिरिक्त, वह कुडनकुलम परमाणु ऊर्जा संयंत्र इकाई 3 और 4 से बिजली निकासी के लिए
550 करोड़ रुपये की अंतर-राज्यीय पारेषण प्रणाली का शिलान्यास करेंगे, जिसमें 400 केवी डबल-
सर्किट ट्रांसमिशन लाइन शामिल है।
स्मारक सिक्का किया जाएगा जारी
गंगईकोंडा चोलपुरम मंदिर में एक सार्वजनिक कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री आदि तिरुवथिरई
महोत्सव के उपलक्ष्य में राजेंद्र चोल प्रथम के सम्मान में एक स्मारक सिक्का जारी करेंगे। ये
परियोजनाएं तमिलनाडु में कनेक्टिविटी, औद्योगिक विकास और पर्यावरण-अनुकूल बुनियादी ढांचे को
बढ़ावा देंगी, जिससे क्षेत्र का समग्र विकास सुनिश्चित होगा।

